February 8, 2025

टांगरगांव प्लांट के विरोध में जिला मुख्यालय में हजारों ग्रामीणों ने किया प्रदर्शन, गणेश राम ने दिखाई जनशक्ति

जशपुरनगर

जिले के कांसाबेल विकासखंड के टांगरगांव में स्टील प्लांट स्थापित किए जाने की योजना का ग्रामीणों के द्वारा लगातार विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। ग्राम पंचायत स्तर पर शुरू हुआ आंदोलन अब व्यापक रूप ले चुका है और यह अब जिलास्तर पर पहुंच चुका है। प्रशासन से रैली में १ हजार लोगों के उपस्थित होने की अनुमति लेकर इससे अधिक लोगों के हुजूम में रैली और सभा का आयोजन जिला मुख्यालय के महाराजा चौक में किया गया। झमाझम बारिश के बीच भी कांसाबेल से आए ग्रामीणों की भीड़ सभा स्थल पर डटी रही और सभी सभा को संबोधित करने आए समाजिक कार्यकर्ताओं और नेतागण का भाषण सुनते रहे और प्लांट के खिलाफ हुंकार भरते रहे। सभा को संबोधित करने पहुंचे अतिथियों ने शासन और प्रशासन पर प्लांट स्थापित करने में पूंजीपतियों को मदद करने का आरोप लगाते हुए इसे ग्राम सभा को विपरीत फैसला लेने की बात कही है।

गणेश ने कहा, भीड़ से भयभीत लोग
अखिल भारतीय जनजातीय सुरक्षा मंच के संस्थापक पूर्व वन मंत्री गणेश राम भगत ने सभा को संबोधित करते हुए कहा, टांगरगांव मां कुदरगढ़ी स्टील प्लांट के विरोध में पहुंची भीड़ को संबोधित करते हुए कहा, इस भीड़ को देखकर कुछ लोगों को दिशा हो रहा है। दिशा जशपुर की क्षेत्रीय भाषा में दीर्घ शंका शौच को कहा जाता है। गणेश राम भगत ने कहा शासन और प्रशासन में बैठे लोग प्लांट के मालिकों की मदद कर रहे हैं और भोले-भाले ग्रामीणों का अहित कर रहे हैं। इसलिए यह भीड़ आज जिला मुख्यालय में दिखाई दे रही है जिससे लोगों की नींद उड़ गई है।

अंत तक जारी रहेगा संघर्ष
गणेश राम भगत ने सभा को संबोधित करते हुए कहा, आदिवासियों के हक की जमीन को बंजर बनाने के लिए उद्योग को स्थापित करने की योजना बनाई जा रही है। हम इसका अंतिम सांस तक विरोध करते रहेंगे और क्षेत्र में स्थापित होने वाले हर प्रकार के औद्योगिक उद्योगों का विरोध किया जाएगा। उन्होंने कहा, हमें भूखे पेट रहकर आंदोलन करने वालों में से नहीं हैं। आर-पार के आंदोलन के लिए धरनास्थल पर खाना पकाकर उसे पेट भरकर खाने के बाद आंदोलन किया जाएगा और उद्योग और उद्योगपतियों को भगाया जाएगा।

नेता चुनने का भी छेड़ा बिगुल
टांगरगांव स्टील प्लांट का विरोध करने पहुंचे ग्रामीणों को संबोधित करते हुए जनजातीय सुरक्षा मंच के कार्यकर्ता श्रवण चौहान ने कहा ग्राम सभा से ऊपर कुछ नहीं है। हमारी मर्जी के खिलाफ गांव में कुछ नहीं होने देंगे। उन्होंने जिले के निर्वाचित विधायकों पर हमला करते हुए कहा, कोई नेता प्लांट के विरोध में खुलकर सामने नहीं आ रहे हैं। सिर्फ गणेश राम भगत ही हैं जो खुलकर सामने आकर ग्रामीण आदिवासियों की जमीन और सुरक्षा के लिए लड़ रहे हैं। इसलिए ऐसे व्यक्ति को ही नेता चुना जाएगा।

अनाज उद्योग है क्या? रामप्रकाश
अखिल भारतीय जनजातीय सुरक्षा मंच के संस्थापक सदस्य प्रेमप्रकाश पांडे ने सभा को संबोधित करते हुए कहा, अगर सभी जमीनों में औद्योगिक प्लांट लगा दिया जाएगा तो अनाज का उत्पादन किस भूमि में किया जाएगा। उन्होंने कहा, स्टील और सीमेंट कारखानों के अलावा कभी चावल, दाल या चना बनाने का कोई उद्योग क्यों नहीं लगाया जाता। हरियाली के विषय में और जमीन की उर्वरता के बारे में विचार क्यों नहीं किया जाता। उन्होंने कहा जशपुर की आबो हवा स्वर्ग की तरह है और हम स्वर्गवासी नहीं हैं। हम जिंदा हैं और जिंदा होने का परिचय अपने विरोध प्रदर्शन में दिखाते रहेंगे।

राज्यपाल के नाम सौंपा ज्ञापन
अखिल भारतीय जनजातीय सुरक्षा मंच की ओर से राज्यपाल के नाम १३ बिंदुओं पर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया है। ज्ञापन में जिले में व्याप्त भ्रष्टाचार को उल्लेख करते हुए प्लांट को नहीं लगने देने के साथ ही जशपुर को ग्रीन बेल्ट घोषित करते हुए भारत के पर्यटन मानचित्र में शामिल किए जाने की मांग की गई है।

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