July 1, 2025

अब रायपुर में कोरोना टेस्ट नहीं कराने पर होगी एफआईआर

रायपुर @cgpioneer
छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में कोरोना मरीजों की संख्या में बढ़ोत्तरी देखी जा रही है। जिस कारण कोरोना टेस्टिंग पर जोर दिया जा रहा है। अब कोरोना टेस्ट नहीं कराने और सैंपल देने से इंकार करने वाले के खिलाफ सीधे एफआईआर दर्ज की जाएगी। इसके लिए कलेक्टर सौरभ कुमार ने कार्यपालक मजिस्ट्रेट समेत पुलिस की एक विशेष टीम गठित की है। इस संबंध में आदेश भी जारी कर दिया गया है। जारी आदेश में कहा गया है कि कोविड-19 पॉजिटिव पाए गए व्यक्तियों की कॉटेक्ट ट्रेसिंग कार्य की समीक्षा की गई। जिसमें यह पाया गया कि कोरोना पॉजिटिव व्यक्तियों के सीधे संपर्क में आए कुछ लोग कोरोना जांच कराने में आना-कानी कर रहे हैं। या फिर कोरोना सैंपल देने से मना कर रहे हैं। कोविड-19 महामारी के फैलाव से बचाव और कोरोना वायरस की चेन को तोडऩे का प्रयास किया जा रहा है। इसलिए कोरोना पॉजिटिव मिले व्यक्ति के सीधे संपर्क में आए व्यक्तियों का कोरोना टेस्ट कराना जरूरी है। इसलिए कोरोना पॉजिटिव व्यक्तियों के सीधे संपर्क में आए लोगों की जांच सुनिश्चित की जाए। कोरोना सैंपल लेने के दौरान बाधा उत्पन्न करने वाले व्यक्तियों के खिलाफ नियमानुसार एफआईआर दर्ज की जाए। इसके लिए नायब तहसीलदार और कार्यपालक मजिस्ट्रेट एनके सिन्हा को आदेशित किया गया है। रायपुर वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय यादव को पुलिस अधिकारियों की ड्यूटी लगाना सुनिश्चित किया है। वहीं कोरोना को लेकर रायपुर कलेक्टर सौरभ कुमार ने बैठक लेकर सभी को निर्देशित किया है कि कोरोना टेस्टिंग की क्षमता बढ़ाई जाए। बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन और प्रमुख बाजारों पर टेस्टिंग के लिए टीम बैठाई गई है। यदि किसी व्यक्ति में थोड़े भी लक्षण नजर आते है, तो उनका अनिवार्य रूप से टेस्ट किया जाएगा।
टीके की उपलब्धता पर सच बोलें नये स्वास्थ्य मंत्री : कांग्रेस
कांग्रेस ने कहा है कि देश में टीके की कमी है तथा नए स्वास्थ्य मंत्री भी इसकी उपलब्धता को लेकर सच नहीं बोल रहे हैं इसलिए साल के अंत तक पूरी आबादी का वैक्सीनेशन करने का सरकार का दावा सही नहीं लगता है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम ने संवाददाता सम्मेलन में पत्रकारों के सवाल पर कहा कि पूर्व स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन टीके की उपलब्धता को लेकर सच नहीं बोल रहे थे और इसकी कीमत उन्हें मंत्री पद से हाथ धोकर चुकानी पड़ी है। डॉ. हर्षवर्धन खुद पेशे से चिकित्सक थे और वह स्थिति को समझते थे लेकिन उन्होंने भी देश में वैक्सीन की उपलब्धता को लेकर सच नहीं बताया। उन्होंने कहा कि नए स्वास्थ्य मंत्री मनसुखलाल मंडावीय भी टीके की उपलब्धता को लेकर सच नहीं बोल रहे हैं। उनका कहना था कि सरकार को वैक्सीन का उत्पादन बढ़ाना चाहिए लेकिन वर्तमान माहौल में उसके लिए ऐसा करना संभव नहीं हो रहा है। कांग्रेस नेता ने कहा कि अगर साल के अंत तक पूरी आबादी को टीका लगाने का लक्ष्य हासिल करना है तो देश में इस समय 80 लाख से ज्यादा लोगों को प्रतिदिन टीका लगना चाहिए लेकिन हाल यह है कि एक दिन में इसकी आधी आबादी को ही टीका लग पा रहा है। देश में टीके की कमी है और सिर्फ स्पूतनिक टीके का ही आयात हो पा रहा है। सरकार को टीकाकरण का लक्ष्य हासिल करने के लिए टीके की आपूर्ति बढ़ानी चाहिए।
कोरोना महामारी की तीसरी लहर को आने से रोकना होगा : पीएम मोदी
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कोरोना महामारी की तीसरी लहर अपने आप दस्तक नहीं देगी बल्कि लापरवाही और ढिलाई इसका कारण बन सकती है इसलिए सभी को मिलकर कोविड उपयुक्त व्यहवार का सख्ती से पालन करते हुए तीसरी लहर को आने से रोकना होगा। श्री मोदी ने पूर्वोत्तर के आठ राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ मंगलवार को कोरोना संक्रमण के बारे में बात की। वीडियो कांफ्रेन्स के माध्यम से हुई बातचीत में प्रधानमंत्री ने असम , नगालैंड, त्रिपुरा, सिक्किम, मणिपुर, मेघालय,अरूणाचल प्रदेश और मिजोरम के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना संक्रमण के कारण उपजी स्थिति की समीक्षा की। प्रधानमंत्री ने दुर्गम और पर्वतीय क्षेत्रों में कोरोना की जांच, उपचार और टीकाकरण के लिए ढांचागत सुविधा उपलब्ध कराने के लिए डाक्टरों, स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं और सरकारों तथा लोगों की सराहना की। प्रधानमंत्री ने पर्यटन और व्यापार पर महामारी के असर की बात को मानते हुए जोर देकर कहा कि पर्वतीय क्षेत्रों, पर्यटन स्थलों तथा अन्य स्थानों पर भीड भाड़ से हर हालत में बचा जाना चाहिए और लोगों को वहा हर जरूरी एहतियात बरतना होगा। तीसरी लहर आने से पहले मौज मस्ती करने की दलील को खारिज करते हुए उन्होंने कहा कि यह समझने की जरूरत है कि तीसरी लहर अपने आप नहीं आयेगी। उन्होंने कहा कि सबके मन में सवाल यह होना चाहिए कि तीसरी लहर को कैसे रोकें । विशेषज्ञ लापरवाही और भीड़ भाड़ को लेकर लगातार चेतावनी दे रहे हैं और आगाह कर रहे हैं कि इससे संक्रमण के मामलों में तेजी आ सकती है। उन्होंने जोर देकर कहा जहां तक संभव हो हमें भीड़ भाड़ से बचना होगा। उन्होंने कहा कि हमें कोरोना वायरस के हर वेरिएंट पर भी नजऱ रखनी होगी। म्यूटेशन के बाद ये कितना परेशान करने वाला होगा, इस बारे में एक्सपर्ट्स लगातार स्टडी कर रहे हैं। ऐसे में बचाव और उपचार बहुत जरूरी है। ये सही है कि कोरोना की वजह से टूरिज्म, व्यापार-कारोबार बहुत प्रभावित हुआ है। लेकिन आज मैं बहुत जोर देकर कहूंगा कि हिल स्टेशंस में, मार्केट्स में बिना मास्क पहने, भारी भीड़ उमडऩा ठीक नहीं है। टीकाकरण पर बहुत अधिक जोर देते हुए उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा चलाए जा रहे ‘सबको वैक्सीन-मुफ्त वैक्सीनÓ अभियान की नॉर्थ ईस्ट में भी उतनी ही अहमियत है। तीसरी लहर से मुकाबले के लिए हमें वैक्सीनेशन की प्रक्रिया तेज़ करते रहना है। हमें टेस्टिंग और ट्रीटमेंट से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार करते हुए आगे चलना है। इसके लिए हाल ही में कैबिनेट ने 23 हज़ार करोड़ रुपए का एक नया पैकेज भी स्वीकृत किया है। नॉर्थ ईस्ट के हर राज्य को इस पैकेज से अपने हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मज़बूत करने में मदद मिलेगी। श्री मोदी ने कहा कि ये कोरोना ऐसी चीज है, वो अपने आप नहीं आती है, कोई जाकर के ले आये तो आती है और इसलिए हम अगर इन चीजों को बराबर सावधानी करेंगे, तो हम तीसरी लहर को भी रोक पाएंगे। आने के बाद क्या करेंगे वो एक अलग विषय है लेकिन आते हुए रोकना ये एक प्रमुख विषय है और इसके लिए हमारे नागरिकों में सजगता, सतर्कता, प्रोटोकॉल का पालन, इस पर हमने थोड़ा सा भी कंप्रोमाइज नहीं करना है और एक्सपर्ट भी बार-बार ये चेतावनी दे रहे हैं कि असावधानी, लापरवाही, भीड़भाड़, ऐसे कारणों से कोरोना संक्रमण में भारी उछाल आ सकता है।

 

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